ना-समझ बकरियाँ – Text, Sound and Image

ना-समझ बकरियाँ

एक गाँव के पास नहर बहती थी | उस नहर पर लकड़ी के तने का एक पुल था | वह कम चौड़ा था | उस पर से एक बार में एक ही आदमी या पशु जा सकता था |

एक दिन की बात है | एक बकरी पुल पर इधर से आई | एक बकरी उधर से आई | यह कहने लगी कि तू कहाँ जा रही है ? उसने कहा कि मैं परले पार जा रही हूँ ! और तू कहाँ जा रही है ? उसने कहा कि मैं अपने गाँव जा रही हूँ !

यह कहने लगी कि पहले मैं परले पार जाऊँगी ! तू पीछे चली जा !

वह कहने लगी कि पहले मैं परले पार जाऊँगी ! तू पीछे चली जा!|

यह कहने लगी कि पहले मैं पुल पार करूँगी ! मैं पीछे क्यों जाऊँ ?

वह कहने लगी कि पहले मैं पार करूँगी  !  मैं पीछे क्यों जाऊँ ?

मैं-मैं करके वे दोनों लड़ने लगीं | लड़ते-लड़ते दोनों बकरियाँ नहर में गिर पड़ीं |

Glossary:

  • गाँव m. — village
  • नहर f. — stream, canal
  • बहना — to flow
  • लकड़ी f. — wood
  • तना m. — trunk, log
  • पुल m. — bridge
  • चौड़ा — wide
  • पशु m. — animal
  • बकरी f. — goat
  • परले पार — opposite bank
  • पार करना — to  cross 
  • लड़ना — to fight
  • गिर पड़ना — to fall down

Practice Questions:

१. नहर कहाँ बहती थी ?

२. पुल किस चीज़ का बना था ?

३. पुल पर एक बार कितने लोग जा सकते थे ?

४. कितनी बकरियाँ थीं ?

५. बकरियों को कहाँ जाना था ?

६. पहली बकरी ने दूसरी बकरी से क्या पूछा ?

७. दूसरी बकरी ने क्या जवाब दिया ?

८. बकरियों में लड़ाई किस बात पर हुई ?

९. दोनो बकरियाँ पानी में क्यों गिर पड़ीं ?